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महिला जाग्रति की संवाहक...

महिला जाग्रति की संवाहक...

आज हमारे परिवीक्षा सत्र का दूसरा दिन था। सुबह करीब ग्यारह बजे हमें सूचना मिली कि हमें आज एक स्कूल मंे जाना है। खैर सुबह 11ः30 के आसपास हम षासकीय नवीन हाई स्कूल पचपेढ़ी, साउथ सिविल लाइन, जबलपुर को रवाना हुए। लगभग 45 मिनट के बाद हम स्कूल के ग्राउंड में थे। काफी साफ सुथरा व स्वस्थ वातावरण था वहां पर। कुछ देर हमें कार्यक्रम की अनुमति मिली और हमने कार्यक्रम की रूपरेखा बनाई। एक जो नई बात पता चली वह यह थी कि इस विद्यालय की सारी जिम्मेदारी मतलब प्रबंधन से लेकर संचालन व पढ़ाना लिखाना सब कुछ महिलाओं के हाथ में है। और वे अपनी जिम्मेदारी का पूरी भावना के साथ निर्वाहन कर रही है। 
महिला जागृति अभियान का एक महत्वपूर्ण अंग लगी ये सब। काफी सुखद अनुभव हुआ इन सबके बीच आकर। कुछ देर बाद हम कक्षा 5 से लेकर 10 तक के छात्रों के बीच थे। काफी सक्रिय बच्चे थे ये। हमारे साथी शेष शुक्ला जी ने बच्चों को परीक्षा में अंक कैसे अच्छे लाये विषय पर एक सुन्दर प्रस्तुति दी। फिर हमने और हमारे साथ गए सचिन तोमर, व श्री बीडी चैकसे जी ने सभी छात्रों को आगामी विवेकानन्द जयंती के लिए संकल्प दिलाया। एक षानदार व सुखद अनुभव के साथ हमारे परिवीक्षा में संभाषण की क्रिया की षुरूआत हुई।



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